पीडीए सम्मेलन में गरजे सपाई
रुद्रपुर।सिटी क्लब में आज हुए पीडीए सम्मेलन में विचार विमर्श किया गया। वक्ताओं ने कहा कि आज उत्तराखंड में कुछ सामाजिक नेता अपनी राजनीति चमकाने हेतु पहाड़ और मैदान के बीच दूरी और दरार पैदा करने का कार्य कर रहे हैं। जबकि इस प्रदेश की असली नींव समाजवादी पार्टी के संस्थापक नेता मुलायम सिंह यादव ने वर्ष 1994 में रखी थी।नेता जी ने उत्तराखंड की मूल संरचना तथा सामाजिक सौहार्द की रक्षा के उद्देश्य से कौशिक समिति का गठन किया गया था। सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने देश को जोड़ने और सामाजिक न्याय की स्थापना के लिए पीडीए – पहाड़ी, देसी, अल्पसंख्यक का नया जनसरोकार मॉडल दिया है।समाजवादी पार्टी उत्तराखंड में पहाड़ी, देसी और अल्पसंख्यक समाज की आवाज बनकर सर्वसमाज को साथ लेकर प्रदेश की राजनीति को नई दिशा देगी। लोकसभा नैनीताल प्रभारी सपा नेता अरविंद यादव ने कहा कि प्रदेश का युवा रोजगार न मिलने के कारण पलायन करने को मजबूर है। रोजगार से वंचित हैं।पहाड़ी क्षेत्रों में किसानों की हालत बेहद दयनीय है। जंगली जानवर फसलें नष्ट कर रहे हैं।धान की सरकारी खरीद बंद हो गई है। वर्ष 2020 से बाजपुर के 20 गांवों की ज़मीन पर सेल-परचेज पर प्रतिबंध ने किसानों को आर्थिक रूप से तोड़ कर रख दिया है। बच्चों की पढ़ाई छूट रही है और किसान मजदूरी पर मजबूर हैं।ऊर्जा प्रदेश कहलाने वाले उत्तराखंड में गरीबों और किसानों को सस्ती बिजली उपलब्ध नहीं है।पहाड़ी क्षेत्रों के सैकड़ों विद्यालय आज शिक्षक-विहीन हो चुके हैं। सरकार सरकारी स्कूलों को बंद कर 13 किलोमीटर के दायरे में एक स्कूल रखने की योजना बना रही है, जो बिल्कुल अव्यावहारिक है। स्वास्थ्य सेवाएं बदहाल है।इस दौरान भाजपा और कांग्रेस के 25 लोग सपा में शामिल हो गए।इस मौके पर रवि छाबड़ा, राम सिंह,अमित कुमार, उज्ज्वल सिंह, इमरान अंसारी, पुष्पेंद्र यादव, दिलशाद अहमद आदि मौजूद थे।




